सात साल पुराने कैंची घोंप कर दलित युवक की हत्या के मामले में अआजीवन कारावास

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बीकानेर। कमीशन देने से मना करने पर सवा सात साल पुराने कैंची घोंप कर दलित युवक की हत्या के मामले में एससी-एसटी मामलों की विशेष अदालत ने अभियुक्त भगत सिंह राजपूत को दोषी करार दिया है। अभियुक्त को आजीवन कारावास की सजा एवं 20 हजार रुपए के जुर्माना लगाया है।
राज्य की ओर से पैरवी विशेष लोक अभियोजक कुंवर कुन्दन व्यास ने की। उन्होंने बताया कि अमरसिंहपुरा निवासी जनकराज उर्फ अनिल कुमार मजदूरी करता था। उसे अभियुक्त भगतसिंह ने कोठारी अस्पताल में काम पर रखवाया था। अभियुक्त जनकराज से अस्पताल में काम पर रखवाने का कमीशन मांग रहा था जो वह दे नहीं रहा था। घटना से दो दिन पहले अभियुक्त ने घर आकर जान से मारने की धमकी भी दी थी। 16 मार्च, 2016 को जनकराज अपने एक अन्य साथी के साथ सर्वोदय बस्ती कोई काम से गया था तब आरोपी ने उस पर धारदार हथियार से हमला कर मौत के घाट उतार दिया। विशेष लोक अभियोजक व्यास की ओर से न्यायालय में 10 से अधिक दस्तावेज पेश किए गए और 10 गवाहों के बयान करवाए गए। दस्तावेज व बयानों के आधार पर न्यायालय ने आरोपी को दोषी करार देते हुए सजा सुनाई।

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