प्लाजमा डोनेट करने के लिए प्रेरित किया जाए: मेहता

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बीकानेर। जिला कलक्टर नमित मेहता ने कहा कि कोरोना रोगियों को होम आइसोलेशन मे रखा जा रहा है और इनके स्वास्थ्य परीक्षण, दवा आदि मिलती रहे और ये लोग घर में ही रहें इसके लिए राजस्थान प्रशासनिक सेवा के अधिकारियों को जॉन वाइज जिम्मेदारी दी गई है। अधिकारी यह सुनिश्चित करें कि होम आइसोलेशन व्यक्ति का स्वास्थ्य परीक्षण सहित उसके घर में रहने की जानकारी एकत्रित करने के कार्य में ऐसे राजकीय कर्मचारी या अधिकारी की ड्यूटी ना लगाई जाए जो स्वयं 55 वर्ष से अधिक की उम्र के हों। उन्होंने पीबीएम. अस्पताल के अधीक्षक को निर्देश दिए कि सुपर स्पेशलिटी सेंटर में लगे सभी सीसीटीवी कैमरे बराबर कार्य करते रहें और समय-समय पर इसके फुटेज अतिरिक्त जिला कलक्टर (शहर) को उपलब्ध करवाए जाएं।
मेहता शुक्रवार को कलेक्ट्रेट सभागार में कोविड-19 की समीक्षा बैठक में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि होम आइसोलेशन वाले रोगी घर से बाहर नहीं निकले। इसके लिए उनके घरों के बाहर नोटिस तो चस्पा किया ही जा रहा है, साथ ही आसपास में रहने वाले लोगों से भी जब अधिकारी राउंड पर जाएं तो बात करके फीडबैक लेते रहें। लोगों को समझाइश करें कि घर से बाहर न निकलें, घर में ही रहें। उन्होंने कहा कि अगर कहीं ऐसा मिलता है कि घर में रहने वाले व्यक्ति वृद्ध हैं और उन्हें कोई बहुत आवश्यक दवा या सामान की जरूरत हो तो वह भी उपलब्ध करवाने के लिए संबंधित क्षेत्र के बीएलओ तथा अन्य कर्मचारी द्वारा मानवीय दृष्टिकोण रखते हुए मदद करें और आवश्यक सामान उपलब्ध करवाने का कार्य करें।
जिला कलक्टर ने कहा कि शहर में सैनेटाइजेशन का कार्य लगातार जारी रहना चाहिए। कोई भी स्थान सैनिटाइजेशन होने से नहीं बचे, विशेषकर सार्वजनिक स्थान जहां लोगों का आना-जाना अधिक होता है। ऐसे स्थानों पर सैनिटाइजेशन का कार्य होता रहना चाहिए।
प्लाज्मा डोनेशन के लिए व्यक्तिगत प्रयास करें
जिला कलक्टर ने पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक और मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी को कहा कि जो व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव थे और वे ठीक हो गए हैं, उन्हें प्लाज्मा डोनेशन करने के लिए समझाइश की जाए। विभाग के अधिकारी दूरभाष पर बात करें अथवा अन्य अधिकारियों के माध्यम से व्यक्तिगत रूप से संपर्क स्थापित कर, उन्हें समझाइश करें कि आप कोरोना विजेता हैं, अब आपके प्लाज्मा डोनेशन से जरूरतमंद जल्द स्वस्थ होगा और उनकी जान बचेगी, आप अपने नैतिक दायित्व का पालन करें और प्लाज्मा डोनेट करें। अब तक बीकानेर के पीबीएम अस्पताल में 59 रोगियों को प्लाजमा थेरेपी के माध्यम से ठीक किया जा चुका है। 103 व्यक्तियों की मृत्यु अप्रैल से सितंबर माह के बीच में हुई, इनमें 18 रोगी तो ऐसे थे जिनकी मृत्यु घर पर ही हो गई थी और अस्पताल लाने के बाद जब उनका कोरोना टेस्ट किया गया तो पॉजिटिव पाए गए। इसी तरह 10 रोगी हृदय रोग से पीडि़त थे, 14 रोगी हाइपरटेंशन और शुगर के (एक्यूट) गम्भीर रोगी होने के कारण मृत्यु हुई। इसी तरह 3 रोगी डिप्रेशन के पेशेंट और 3 रोगियों में खून की कमी मृत्यु का कारण रही। बैठक में यह भी बताया गया की 103 लोगों में मरने वालों में 15 रोगी दमा से पीडि़त थे। वहीं 7 किडनी के और 20 रोगी तेज बुखार और निमोनिया से पीडि़त थे। 13 रोगी अन्य बीमारियों से ग्रसित थे जो कोविड पॉजिटिव थे।
अब तक एक लाख 38 हजार 552 व्यक्तियों का कोविड-19 जांच
कोविड-19 की समीक्षा बैठक में बताया गया कि जिले में अब तक एक लाख 38 हजार 552 व्यक्तियों की कोविड की जांच की गई है, इनमें से 6 हजार 266 पॉजिटिव चिन्ह्ति हुए, इस तरह टेस्ट पॉजिटिव रहे अब तक जितने पॉजिटिव है इनमें से 4 हजार 986 मरीज पूर्ण स्वस्थ हो गए। इस तरह रिकवरी रेट 81 प्रतिशत रही। वहीं कुल पॉजिटिव रोगियों में से 103 रोगियों की मृत्यु हो गई। जिले में मृत्यु का प्रतिशत 1.6 7 रहा है। बैठक में बताया गया कि बैठक में अतिरिक्त जिला कलक्टर (शहर) सुनीता चौधरी पीबीएम अस्पताल के अधीक्षक डॉ मोहम्मद सलीम, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. बी एल मीणा सहित सभी एरिया मजिस्ट्रेट उपस्थित थे।

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